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Published 22:04 IST, December 30th 2024

BIG BREAKING: Spadex सफलतापूर्वक लॉन्च, ISRO ने रचा नया इतिहास, क्यों है अंतरिक्ष का सबसे बड़ा प्रयोग?

इसरो ने Spadex मिशन को लॉन्च कर दिया है। इसरो का ये मिशन स्पेस की दुनिया में भारत के लिए गेमचेंजर साबित हो सकता है।

SpaDeX Mission: ISRO ने सफलतापूर्व लॉन्च किया SpaDeX | Image: X/ ISRO

ISRO Launched SpaDex: इसरो ने Spadex मिशन को लॉन्च कर दिया है। इसरो का ये मिशन स्पेस की दुनिया में भारत के लिए गेमचेंजर साबित हो सकता है। इसरो की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार SpaDeX के PSLV ने सभी चार चरणों को सफलतापूर्वक पार करने के बाद आगे बढ़ रहा है। पीएसएलवी-सी60 पर मौजूद प्राइमरी स्पैडेक्स अंतरिक्ष यान ‘ए’ और ‘बी’ सफलतापूर्वक अलग हुए।

इस मिशन के सफल लॉन्चिंग के साथ ही इसरो एक और नया इतिहास लिख दिया है। इस मिशन को अंतरिक्ष का सबसे बड़ा प्रयोग माना जा रहा है। ध्यान देने वाली बात ये है कि इस मिशन के लिए 24 पेलोड इस्तेमाल किए गए, इनमें से 14 इसरो रिसर्च सेंटर से हैं, जबकि 10 प्राइवेट यूनिवर्सिटी और स्टार्टअप से हैं, जो अंतरिक्ष क्षेत्र में नवाचार और सहयोग को बढ़ावा देने में मिशन की भूमिका को रेखांकित करता है। 

प्वाइंट्स में समझे पूरा मिशन

ISRO SpaDeX Mission: भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने श्रीहरिकोटा, आंध्र प्रदेश से स्पैडेक्स और अभिनव पेलोड के साथ पीएसएलवी-सी60 लॉन्च किया। पहले चरण का प्रदर्शन सामान्य रहा। स्पैडेक्स मिशन पीएसएलवी द्वारा लॉन्च किए गए दो छोटे अंतरिक्ष यान का उपयोग करके अंतरिक्ष में डॉकिंग के प्रदर्शन के लिए एक लागत प्रभावी प्रौद्योगिकी प्रदर्शन मिशन है। स्पैडेक्स मिशन का प्राथमिक उद्देश्य दो छोटे अंतरिक्ष यान (एसडीएक्स01, जो चेजर है, और एसडीएक्स02, जो नाममात्र का लक्ष्य है) को कम-पृथ्वी वृत्ताकार कक्षा में मिलन, डॉकिंग और अनडॉकिंग के लिए आवश्यक तकनीक विकसित करना और उसका प्रदर्शन करना है। इस मिशन के माध्यम से, भारत अंतरिक्ष डॉकिंग तकनीक रखने वाला दुनिया का चौथा देश बनने की ओर अग्रसर है।

ISRO SpaDex Mission: पीएसएलवी-सी60 ने स्पाडेक्स और 24 पेलोड का सफलतापूर्वक लॉन्च किया।

ISRO SpaDex Mission: इसरो पीएसएलवी लॉन्च और अंतरिक्ष डॉकिंग प्रयोग पर, भारतीय वैज्ञानिक डब्ल्यू सेल्वामूर्ति ने कहा, "साल के अंत में, जब हम 2024 को अलविदा कह रहे हैं, इसरो पीएसएलवी सी-60 लॉन्च कर रहा है, जो डॉकिंग तकनीक, आर्बिट्रल डॉकिंग को कैसे प्राप्त किया जा सकता है, यह देखने के लिए एक बहुत ही महत्वपूर्ण प्रौद्योगिकी प्रदर्शक है। यह प्राथमिक मिशन है। दो प्राथमिक पेलोड हैं, जो 'टारगेट' और 'चेजर' होंगे। फिर 24 अन्य पेलोड भी होंगे, जिनमें से एमिटी यूनिवर्सिटी एक बहुत ही महत्वपूर्ण जैविक पेलोड भेज रही है, जो एक पौधे का कैलस है।"

ISRO SpaDex Mission: लॉन्च से पहले T-1 घंटा! पीएसएलवी-सी60 ऐतिहासिक मिशन के लिए तैयार।

ISRO SpaDex Mission: पीएसएलवी-सी60 पर 24 अन्य गैर-पृथक पीओईएम पेलोड

ISRO SpaDex Mission: पीएसएलवी-सी60 के उड़ान सीक्वेंस ये रहा-

ISRO SpaDex Mission: यह मिशन भारत के बढ़ते अंतरिक्ष पारिस्थितिकी तंत्र के लिए एक बड़ा बदलाव है, जो स्पेस में रूचि रखने और उसे बुलंदी तक ले जाने के लिए काम करने वाले स्टार्टअप और विश्वविद्यालयों को अवसर प्रदान करेगा। बता दें, इस मिशन में कुल 24 पेलोड में से 14 इसरो के हैं, जबकि 10 निजी विश्वविद्यालयों और स्टार्टअप से हैं।

पीएसएलवी सी-60 मिशन: पीएसएलवी-सी60 स्पैडेक्स मिशन लॉन्च से पहले, इसरो के वैज्ञानिकों ने महत्वपूर्ण लॉन्च से पहले प्रार्थना करने और दैवीय हस्तक्षेप की प्रार्थना करने के लिए तिरुमाला में श्री वेंकटेश्वर स्वामी मंदिर का दौरा किया।

इसरो स्पैडेक्स मिशन: अंतरिक्ष में जाने वाली स्वदेशी तकनीकें; डॉकिंग तंत्र, चार मिलन स्थल और डॉकिंग सेंसर का एक सेट, पावर ट्रांसफर तकनीक, अन्य अंतरिक्ष यान की सापेक्ष स्थिति और वेग निर्धारित करने के लिए GNSS-आधारित नोवेल रिलेटिव ऑर्बिट डिटरमिनेशन एंड प्रोपेगेशन (RODP) प्रोसेसर।

इसे भी पढ़ें: क्या है Spadex? जिसे सफलतापूर्वक लॉन्च करते ही भारत बन जाएगा ऐसा कारनामा करने वाला चौथा देश, चंद्रयान-4 के लिए क्यों अहम

Updated 22:42 IST, December 30th 2024

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