Published 17:27 IST, December 21st 2024
कश्मीरी शॉल पर जीएसटी बढ़ा तो खत्म हो जाएगा यह शिल्प: महबूबा
जम्मू-कश्मीर की पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने शनिवार को कहा कि कश्मीरी शॉल पर जीएसटी में प्रस्तावित बढ़ोतरी से यह शिल्प खत्म हो जाएगा। उन्होंने जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला से इस मुद्दे पर ध्यान देने की अपील की।
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जम्मू-कश्मीर की पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने शनिवार को कहा कि कश्मीरी शॉल पर जीएसटी में प्रस्तावित बढ़ोतरी से यह शिल्प खत्म हो जाएगा। उन्होंने जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला से इस मुद्दे पर ध्यान देने की अपील की।
उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि केंद्र जम्मू-कश्मीर के लोगों को पूरी तरह पर्यटन पर निर्भर बनाने की कोशिश कर रहा है। महबूबा ने संवाददाताओं से कहा, ''कश्मीरी शॉल हमारे लिए सिर्फ आजीविका का साधन नहीं है, बल्कि जम्मू-कश्मीर की पहचान है। यह पूरी दुनिया में मशहूर है। (पिछली) नेशनल कॉन्फ्रेंस सरकार ने शाहतूश पर प्रतिबंध लगा दिया, जो हमारी विरासत थी। इससे आर्थिक नुकसान भी हुआ।''
पीडीपी अध्यक्ष ने कहा, ''आज जब आप कश्मीरी शॉल पर जीएसटी बढ़ाकर 28 फीसदी कर देंगे, तो हमारी कला अपने आप खत्म हो जाएगी।'' उन्होंने आरोप लगाया कि बागवानी भूमि पर विकास कार्य करके और हस्तशिल्प क्षेत्र पर जीएसटी लगाकर जम्मू-कश्मीर को खत्म करने की कोशिश की जा रही है।
उन्होंने पूछा, ''इनकी वजह से जम्मू-कश्मीर अपने कठिन समय में बचा रहा। मैं उमर (अब्दुल्ला) से अनुरोध करती हूं कि ये हमारी संपत्ति हैं। आपके पास 50 विधायक हैं, तीन सांसद हैं, भगवान के लिए हमें बताएं कि आप हमारी संपत्ति को बचाने के लिए क्या कर रहे हैं। जीएसटी को 28 प्रतिशत करने के मुद्दे पर आप क्या कर रहे हैं।''
पीडीपी प्रमुख ने आरोप लगाया कि केंद्र जम्मू-कश्मीर को केवल पर्यटन पर निर्भर बनाना चाहता है और इसलिए ही ये फैसले किए जा रहे हैं। महबूबा ने कहा, ''अगर हमारी बागवानी और हस्तशिल्प खत्म हो गए, तो हम केवल पर्यटन पर निर्भर रहेंगे। शायद, केंद्र सरकार बागवानी और हस्तशिल्प क्षेत्रों को खत्म करना चाहती है ताकि जम्मू-कश्मीर के लोग केवल पर्यटन पर निर्भर रहें। ताकि वे जब चाहें पर्यटकों को भेज सकें।''
Updated 17:27 IST, December 21st 2024