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पब्लिश्ड 23:25 IST, October 5th 2024

Jammu Kashmir Exit Poll: J&K में NC-कांग्रेस बनाएगी सरकार? पेंच फंसा तो सत्ता की असल चाबी LG के पास

रिपब्लिक भारत और गुलिस्तान न्यूज के एग्जिट पोल की बात करें तो जम्मू-कश्मीर में त्रिशंकु विधानसभा बनती दिखाई दे रही है।

Reported by: Deepak Gupta
Lieutenant Governor Manoj Sinha | Image: X

Jammu Kashmir Exit Poll: जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव के एग्जिट पोल के नतीजों में नई सरकार बनने के संकेत दिखाई दे रहे हैं। कई एग्जिट पोल केंद्रशासित प्रदेश में खंडित जनादेश की बात कर रहे हैं तो कई नेशनल कॉन्फ्रेंस और कांग्रेस के गठबंधन के बहुमत देते दिखाई दे रहे हैं। रिपब्लिक भारत और गुलिस्तान न्यूज के एग्जिट पोल में बीजेपी और नेशनल कॉन्फ्रेंस को बराबर सीटें मिलती दिख रही हैं।

रिपब्लिक भारत और गुलिस्तान न्यूज के एग्जिट पोल की बात करें तो जम्मू-कश्मीर में त्रिशंकु विधानसभा बनती दिखाई दे रही है। एग्जिट पोल में बीजेपी को 28-30 सीट, नेशनल कॉन्फ्रेस को 28-30 सीट, पीडीपी को 05-07 सीट, कांग्रेस को 03-06 सीट और अन्य के खाते में 05-09 सीट मिलने का अनुमान है।

आइए देखते हैं रिपब्लिक भारत और गुलिस्तान न्यूज के एग्जिट पोल के किस पार्टी को कितनी सीट मिल रही हैं।

  • National Conference- 28-30 सीट
  • PDP- 05-07 सीट
  • Congress - 03-06 सीट
  • BJP - 28-30 सीट
  • AAP- 01-00 सीट
  • APNI- 01-02 सीट
  • API- 01-02 सीट
  • CPIM- 0-1 सीट
  • JKPC- 0-2 सीट
  • Others- 05-09 सीट
  • Totel Seats- 90

त्रिशंकु विधानसभा के बीच झूलता जम्मू-कश्मीर का जनमत

अगर रिपब्लिक भारत और गुलिस्तान न्यूज का एग्जिट पोल असल नजीतों में बदलता है तो किसी भी पार्टी को बहुमत मिलता नहीं दिख रहा है। हालांकि नेशनल कांन्फ्रेस और कांग्रेस गठबंधन सत्ता के ज्यादा करीब दिखाई दे रहे है। क्योंकि नेशनल कांग्रेस और कांग्रेस का चुनाव पूर्व हुआ गठबंधन सरकार गठन के लिए फायदेमंद साबित होता दिखाई दे रहा है। इस संभावना से भी इनकार नहीं किया जा सकता है कि राज्य में भारतीय जनता पार्टी ( BJP ) की सरकार को रोकने के लिए पीडीपी भी नेशनल कांफ्रेंस के साथ आ सकती है। अगर ये संभावना सही सही साबित होती है तो नेशनल कांग्रेस, कांग्रेस, पीडीपी और कुछ निर्दलीय विधायकों के साथ मिलकर सरकार बन सकती है। हां अगर पीडीपी नेशनल कांफ्रेस के साथ नहीं आती है तो नई सरकार बनने में पेंच फंस जाएगा।  

एलजी के हाथ होगी सत्ता की असल चाबी?

जम्मू-कश्मीर में हंग असेंबली की स्थिति में उपराज्यपाल की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण हो जाएगी। दरअसल, केंद्रीय गृहमंत्रालय की सिफारिश पर उपराज्यपाल मनोज सिन्हा 5 सदस्यों को नोमिनेट करेंगे। जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन अधिनियम में संशोधन के बाद ये प्रक्रिया पहली बार प्रभावी हो रही है। 5 सदस्यों को मनोनीत होने के साथ सी केंद्रशासित प्रदेश में विधायकों की संख्या बढ़कर 95 हो जाएगी और सरकार बनाने का जादुई आंकड़ा भी बढ़कर 45 से 48 हो जाएगा। इस स्थिति में 5 मनोनीत सदस्यों के वोट सरकार गठन में महत्वपूर्ण भूमिका अदा करेंगे।

8 अक्टूबर को पता चलेगा 'कश्मीर का किंग' कौन?

जम्मू-कश्मीर चुनाव की बात करें तो यहां अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद पहली बार मतदान हुए। ऐसे में ये चुनाव काफी अहमियत रखते हैं। 3 चरणों में यहां वोटिंग कराई गई। इस दौरान चुनाव शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न हुए और जम्मू-कश्मीर की जनता ने 'लोकतंत्र के महापर्व' में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। चुनाव आयोग के अनुसार केंद्र शासित प्रदेश में कुल मतदान 63.88 प्रतिशत रहा। इस बार के विधानसभा चुनावों के लिए कांग्रेस और नेशनल कॉन्फ्रेंस ने गठबंधन किया है। जम्मू-कश्मीर ने किसे अपना सियासी रहनुमा चुना है इसका पता तो आने वाली 8 तरीख को ही लगेगा लेकिन उससे पहले एग्जिट पोल के नतीजे से यह अंदेशा लग रहा है कि सत्ता की चाबी किसी एक दल के हाथ में नहीं जा रही है। एग्जिट पोल के मुताबिक केंद्र शासित प्रदेश में त्रिशंकु विधानसभा के आसार दिखाई दे रहे हैं। 

इसे भी पढ़ें: Poll Of Polls: हरियाणा और J&K में किस पार्टी को कितनी सीटें?

अपडेटेड 23:27 IST, October 5th 2024

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