पब्लिश्ड 14:17 IST, January 26th 2025
Republic Day Parade: राफेल से सुखोई तक... 40 एयरक्राफ्ट, 22 फाइटर और 7 हेलिकॉप्टर ने आसमान में दिखाए करतब तो कांपा दुश्मन!
आज 76वें गणतंत्र दिवस के मौके पर कर्तव्य पथ पर सांस्कृतिक विविधता, सरकारी योजनाओं की सफलता और महिला सशक्तीकरण के साथ देश की सैन्य शक्ति की झलक देखने को मिली।
76th Republic Day Parade: आज 76वें गणतंत्र दिवस के मौके पर कर्तव्य पथ पर सांस्कृतिक विविधता, सरकारी योजनाओं की सफलता और महिला सशक्तीकरण के साथ देश की सैन्य शक्ति की झलक देखने को मिली। इस दौरान आसमान में दुश्मन को चीर देने वाले लड़ाकू विमान का शौर्य प्रदर्शन आकर्षण का केंद्र रहा। यहां राफेल से लेकर सुखोई तक ने अपना दम दिखाया।
गणतंत्र दिवस समारोह में भारत ने अपनी सैन्य शक्ति का भव्य प्रदर्शन किया। इसमें विशिष्ट मार्चिंग टुकड़ियां, मिसाइलें और विभिन्न स्वदेशी हथियार शामिल थे। मुख्य अतिथि के रूप में इंडोनेशिया के राष्ट्रपति प्रबोवो सुबियांतो भी इसके गवाह बने।
40 एयरक्राफ्ट, 22 फाइटर और…
इस बार पहली दफा तीनों सेनाओं (थलसेना), (वायसेना), (नौसेना) की संयुक्त झांकी देखने को मिली जो सशस्त्र बलों के बीच के तालमेल की भावना को दर्शाती है। इसमें स्वदेशी अर्जुन युद्ध टैंक, तेजस लड़ाकू विमान और आधुनिक हल्के हेलीकॉप्टर के साथ थल, जल और हवा में समकालिक अभियान का प्रदर्शन करते हुए एक युद्धक्षेत्र के परिदृश्य को दर्शाया गया। सेना की तीनों सेवाओं की झांकी का विषय ‘सशक्त और सुरक्षित भारत’ था।
भारतीय वायुसेना के विमानों ने साहसिक फ्लाईपास्ट किया जिसमें इस साल 22 लड़ाकू विमान, 11 परिवहन विमान और 7 हेलीकॉप्टर समेत कुल 40 विमानों शामिल रहे। लड़ाकू जहाजों के कारनामों ने हर किसी को उत्साहित किया। इन विमानों में राफेल, सुखोई, डॉनियर, अपाचे हेलिकॉप्टर, जगुआर, सी 17, सी 295 समेत अन्य विमान शामिल है। जानकारी के मुताबिक, इन विमानों ने वायुसेना के 10 अलग-अलग ठिकानों से उड़ान भरी थी।
पहली सेना की टुकड़ी 61 कैवेलरी ने किया मार्च
घुड़सवार दस्ते का नेतृत्व करने वाली पहली सेना की टुकड़ी 61 कैवेलरी थी, जिसका नेतृत्व लेफ्टिनेंट अहान कुमार ने किया। साल 1953 में स्थापित 61 कैवलरी दुनिया में एकमात्र सेवारत सक्रिय घुड़सवार रेजिमेंट है। इसके बाद नौ मशीनीकृत टुकड़ियों और नौ मार्चिंग टुकड़ियों ने परेड की। टैंक टी-90 भीष्म, एनएजी मिसाइल प्रणाली, ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल, पिनाका मल्टी-लॉन्चर रॉकेट प्रणाली, अग्निबाण मल्टी-बैरल रॉकेट लॉन्चर, आकाश हथियार प्रणाली, एकीकृत युद्धक्षेत्र निगरानी प्रणाली और ‘ऑल-टेरेन व्हीकल’ (चेतक) भी परेड का हिस्सा बने।
हल्के विशेष वाहन ‘बजरंग’, वाहन पर लगे पैदल सेना मोर्टार सिस्टम ‘ऐरावत’, त्वरित प्रतिक्रिया बल वाहन नंदीघोष और त्रिपुरांतक और शॉर्ट-स्पैन ब्रिजिंग सिस्टम को भी प्रदर्शित किया गया। सेना की मार्चिंग टुकड़ियों में ‘ब्रिगेड ऑफ द गार्ड्स’, जाट रेजिमेंट, गढ़वाल राइफल्स, महार रेजिमेंट, जम्मू-कश्मीर राइफल्स रेजिमेंट और सिग्नल कोर शामिल थे।
सेनाओं ने दिखाया शानदार करतब
भारतीय नौसेना की टुकड़ी में 144 कर्मी शामिल थे, जिनका नेतृत्व कंटिनजेंट कमांडर के रूप में लेफ्टिनेंट कमांडर साहिल अहलूवालिया और प्लाटून कमांडर के रूप में लेफ्टिनेंट कमांडर इंद्रेश चौधरी, लेफ्टिनेंट कमांडर काजल अनिल भरानी और लेफ्टिनेंट देवेंद्र ने किया।
इसके बाद नौसेना की झांकी आई जिसमें भारत के समुद्री हितों की रक्षा करने में सक्षम एक मजबूत आत्मनिर्भर नौसेना को दर्शाया गया। झांकी में आईएनएस सूरत, युद्धपोत आईएनएस नीलगिरि और पनडुब्बी आईएनएस वाघशीर सहित अग्रिम पंक्ति के अत्याधुनिक लड़ाकू विमानों को प्रदर्शित किया गया। ये स्वदेशी युद्धपोत डिजाइन और निर्माण में भारत की तीव्र प्रगति के परिचायक हैं। इस झांकी के जरिये भारतीय नौसेना की प्रतिबद्धता को प्रदर्शित किया गया।
वहीं भारतीय वायु सेना की टुकड़ी में स्क्वाड्रन लीडर महेंद्र सिंह गराती के नेतृत्व में चार अधिकारी और 144 कर्मी शामिल थे। इसके बाद ‘बाज फॉर्मेशन’ में तीन मिग-29 विमानों द्वारा फ्लाई-पास्ट किया गया। परेड का एक और आकर्षण विकसित भारत की ओऱ सदैव अग्रसर विषय पर पूर्व सैनिकों की झांकी थी जो राष्ट्र के प्रति पूर्व सैनिकों की श्रद्धांजलि थी।
कर्तव्य पथ पर मार्च करने वाली टुकड़ियों में सहायक कमांडेंट ऐश्वर्या जॉय एम के नेतृत्व में CRPF की 148 सदस्यीय महिला मार्चिंग टुकड़ी शामिल थी। असम राइफल्स दल का नेतृत्व 29 असम राइफल्स के कैप्टन करणवीर सिंह कुंभावत ने किया। इसमें पूरे देश से भर्ती किए गए सैनिक शामिल थे। इसके अलावा BSF की ऊंट टुकड़ी की कमान डिप्टी कमांडेंट मनोहर सिंह खींची ने संभाली। NCC की लड़कियों की मार्चिंग टुकड़ी का नेतृत्व जम्मू-कश्मीर और लद्दाख निदेशालय की सीनियर अंडर ऑफिसर एकता कुमारी ने किया। वहीं, NSS (राष्ट्रीय सेवा योजना) के 148 स्वयंसेवकों के मार्चिंग दल का नेतृत्व पंजाब के दीपक ने किया।
सांस्कृतिक और महिला सशक्तीकरण की दिखी झलक
कुल मिलाकर भारत के 76वें गणतंत्र दिवस की भव्य परेड में देश की सैन्य शक्ति के साथ ही सांस्कृतिक विविधता, सरकारी योजनाओं की सफलता और महिला सशक्तीकरण की झलक देखने को मिली।
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अपडेटेड 14:17 IST, January 26th 2025