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Published 13:54 IST, November 18th 2024

'एमएमआर पर नीति आयोग का खाका मुंबई को महाराष्ट्र से अलग करने की चाल...', उद्धव ठाकरे का आरोप

उद्धव ठाकरे ने कहा कि मुंबई को महाराष्ट्र से अलग करने की साजिश महज चर्चा नहीं है, बल्कि एक गंभीर संकट है। यह साजिश वास्तविक है, लेकिन हम ऐसा कभी नहीं होने देंगे

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Shiv Sena (UBT) leader Uddhav Thackeray.
Shiv Sena (UBT) leader Uddhav Thackeray. | Image: PTI

Uddhav Thackeray: शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे ने रविवार को आरोप लगाया कि मुंबई महानगर क्षेत्र (एमएमआर) के विकास के लिए नीति आयोग का खाका बृहन्मुंबई महानगरपालिका (बीएमसी) के महत्व को कम करके मुंबई को महाराष्ट्र से अलग करने की एक चाल है।

ठाकरे ने कहा कि सत्ता में आने पर महा विकास आघाडी (एमवीए) विश्व आर्थिक मंच (डब्ल्यूईएफ) और एमएमआरडीए के बीच हस्ताक्षरित समझौता ज्ञापन को रद्द कर देगा, क्योंकि इसका उद्देश्य बीएमसी के महत्व को कम करना है।

मुंबई को महाराष्ट्र से अलग करने की साजिश महज चर्चा नहीं- उद्धव 

मुंबई के बीकेसी मैदान में एक रैली को संबोधित करते हुए ठाकरे ने कहा कि अगर एमएमआरडीए (मुंबई महानगर क्षेत्र विकास प्राधिकरण) बीएमसी के अधिकार क्षेत्र का अतिक्रमण करता है तो वह एमएमआरडीए को भंग करने में संकोच नहीं करेंगे।

उन्होंने कहा, ‘‘मुंबई को महाराष्ट्र से अलग करने की साजिश महज चर्चा नहीं है, बल्कि एक गंभीर संकट है। यह साजिश वास्तविक है, लेकिन हम ऐसा कभी नहीं होने देंगे।’’

ठाकरे ने कहा कि एमएमआरडीए और डब्ल्यूईएफ ने एमएमआर को वैश्विक आर्थिक केंद्र के रूप में विकसित करने के लिए सितंबर में एक समझौते पर हस्ताक्षर किए थे। उन्होंने कहा कि एमएमआर विकास पर नीति आयोग की रिपोर्ट के बाद समझौते पर हस्ताक्षर किए गए थे।

'एमवीए-नीत सरकार का पहला फैसला महायुति सरकार की नीतियों को…'

ठाकरे ने कहा कि एमवीए-नीत सरकार का पहला फैसला महायुति सरकार की नीतियों को खत्म करना होगा, जिसने मुंबई की जमीन अडाणी समूह को सौंप दी। पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि वह ‘‘विकास-विरोधी नहीं बल्कि विनाश-विरोधी हैं।’’

ठाकरे ने दावा किया कि उनके नेतृत्व वाली एमवीए सरकार (जून 2022 में) गिरा दी गई और शिवसेना विभाजित हो गई, क्योंकि उन्होंने महाराष्ट्र को लूटने की अनुमति नहीं दी थी।

ठाकरे ने कहा कि भाजपा को गुजरात में सरदार वल्लभभाई पटेल की प्रतिमा बनानी पड़ी, जिन्होंने आरएसएस पर प्रतिबंध लगाया था और महाराष्ट्र में बालासाहेब ठाकरे के नाम पर वोट मांगना पड़ा, जिसे उन्होंने ‘‘समय का बदला’’ बताया।

‘‘एक हैं तो सेफ हैं’’ नारे को लेकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर हमला करते हुए ठाकरे ने कहा कि अगर मोदी के रहते लोग असुरक्षित महसूस करते हैं तो उन्हें इस्तीफा दे देना चाहिए। उन्होंने आरोप लगाया, ‘‘मोदी के रहते केवल भ्रष्ट और देशद्रोही ही सुरक्षित महसूस करते हैं।’’

ठाकरे ने कहा कि महाराष्ट्र गंभीर संकट का सामना कर रहा है क्योंकि ‘‘हवाई अड्डे, बंदरगाह, बिजली, खदानें और स्कूल अदाणी को सौंपे जा रहे हैं।’’

ठाकरे ने अनुच्छेद 370 को हटाने के लिए शिवसेना के समर्थन और उत्पीड़न से भागे कश्मीरी पंडितों को बाल ठाकरे द्वारा शरण दिए जाने को याद किया। उन्होंने कहा, ‘‘उस समय अमित शाह और नरेन्द्र मोदी को दुनिया नहीं जानती थी।’’

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Updated 13:54 IST, November 18th 2024