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Published 18:46 IST, December 17th 2024

'भारत का लोकतंत्र पाताल जितना गहरा और...', राज्यसभा में संविधान पर चर्चा के दौरान बोले अमित शाह

राज्यसभा में संविधान पर चर्चा के दौरान अमित शाह ने कहा कि हमारे साथ आजाद हुए देशों में लोकतंत्र सफल नहीं हुआ, लेकिन हमारा लोकतंत्र पाताल जितना गहरा है।

Reported by: Digital Desk
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Home Minister Amit Shah in Rajya Sabha
राज्यसभा में संविधान पर चर्चा पर अमित शाह का जवाब | Image: Sansad TV

Rajya Sabha: गृहमंत्री अमित शाह ने राज्यसभा में संविधान पर हो रही चर्चा पर जवाब दिया। राज्यसभा में मंगलवार को संविधान पर चर्चा का आखिरी दिन था। अमित शाह ने कहा कि लंबी लड़ाई के बाद हम आजाद हुए। कुछ लोगों ने कहा था कि यह देश कभी आत्मनिर्भर नहीं होगा, लेकिन आज जब पीछे मुड़कर देखते हैं। तो देश सरदार वल्लभ भाई पटेल के प्रयास से आज एक होकर मजबूती से दुनिया के सामने खड़ा है।

गृह मंत्री अमित शाह राज्यसभा में कहा कि संसद के दोनों सदनों में संविधान को लेकर जो चर्चा हुई, वह देश की युवा पीढ़ी के लिए आने वाले समय में शिक्षाप्रद साबित होगी। हमारे साथ आजाद हुए देशों में लोकतंत्र सफल नहीं हुआ, लेकिन हमारा लोकतंत्र पाताल जितना गहरा पहुंच गया है। अनेक तानाशाहों के गुमान और अभिमान को दूर करने का काम इस देश की जनता ने किया है, और लोकतांत्रिक तरीके से किया है। 

'5वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था'

राज्यसभा में संविधान पर चर्चा का जवाब देते हुए गृह मंत्री ने कहा कि संविधान की रक्षा और लोकतंत्र की मजबूती हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है। जो लोग कहते थे कि हम आर्थिक रूप से मजबूत नहीं हो पाएंगे, उनको भी हमारी जनता ने, हमारे संविधान ने खूबसूरती से जवाब दिया है। आज हम दुनिया की 5वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनकर सम्मान के साथ खड़े हैं। यह हमारे संविधान की खूबसूरती का प्रमाण है। महर्षि अरविंद और विवेकानंद की भविष्यवाणी सच होती दिख रही है। यह गौरव और संकल्प का पल है। 

'हमारा संविधान नकल नहीं'

अमित शाह ने कहा कि कोई यह न समझे कि हमारा संविधान अन्य देशों के संविधान की नकल है, हमने अन्य संविधानों से अच्छी बातें ली हैं, पर अपनी परंपराओं को नहीं छोड़ा। लेकिन पढ़ने का चश्मा विदेशी हो तो भारतीयता नहीं दिखेगी। उन्होंने कहा कि संविधान सभा की चर्चा को अगर कोई ध्यान से पड़ेगा, तो उपनिषद, चाणक्य नीति, विदुर नीति, शांति पर्व, रामायण और महाभारत इसमें लिपटे हुए मानव जीवन के सभी मूल्यों को भी इसके अंदर सहेजा है।

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Updated 19:11 IST, December 17th 2024