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पब्लिश्ड 14:17 IST, April 2nd 2024

दिल्ली हाई कोर्ट का आदेश, ‘इंडिया’ नाम के इस्तेमाल के खिलाफ विपक्षी दलों को जवाब देने का आखिरी मौका

New Delhi: दिल्ली हाई कोर्ट ने ‘इंडिया’ नाम के इस्तेमाल के खिलाफ याचिका पर जवाब देने का विपक्षी दलों को आखिरी मौका दिया।

Reported by: Digital Desk
Edited by: Kajal .
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Delhi High Court
दिल्ली हाई कोर्ट | Image: PTI

New Delhi: दिल्ली उच्च न्यायालय ने केंद्र और विभिन्न विपक्षी दलों को उस याचिका पर जवाब देने का मंगलवार को आखिरी मौका दिया, जिसमें विपक्षी गठबंधन ‘इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस’ पर इसके संक्षिप्त नाम ‘इंडिया’ का उपयोग करने पर रोक लगाए जाने का अनुरोध किया गया है।

कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश मनमोहन और न्यायमूर्ति मनमीत पी एस अरोड़ा की पीठ ने कहा कि जनहित याचिका पर एक सप्ताह के भीतर जवाब दाखिल किया जाए। याचिका में आरोप लगाया गया है कि विपक्षी गठबंधन ‘इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस’ के लिए संक्षिप्त नाम ‘इंडिया’ का उपयोग कर राजनीतिक दल ‘‘हमारे देश के नाम पर अनुचित लाभ’’ उठा रहे हैं।

उच्च न्यायालय ने याचिका पर सुनवाई की तारीख आगे बढ़ाने से इनकार करते हुए कहा कि याचिका पर 10 अप्रैल को सुनवाई करने और इसका निपटारा करने का प्रयास किया जाएगा। पीठ ने कहा, ‘‘प्रतिवादी पक्षकारों को एक सप्ताह के भीतर अपना जवाब दाखिल करने का आखिरी मौका दिया जाता है।’’

अदालत ने याचिकाकर्ता गिरीश भारद्वाज की उस याचिका पर सुनवाई की। इसमें मामले की जल्द सुनवाई का अनुरोध करते हुए कहा गया है कि याचिका अगस्त 2023 से लंबित है, सुनवाई अभी पूरी नहीं हुई है और निर्वाचन आयोग द्वारा चुनाव कार्यक्रम की घोषणा की जा चुकी है।

याचिकाकर्ता का प्रतिनिधित्व कर रहे वकील वैभव सिंह ने कहा कि केंद्र सरकार और विपक्षी दलों को पहले ही आठ अवसर दिए जा चुके हैं लेकिन उन्होंने अभी तक अपना जवाब दाखिल नहीं किया। वकील सिद्धांत कुमार ने अदालत को बताया कि निर्वाचन आयोग इस मामले में पहले ही अपना जवाब दाखिल कर चुका है।

केंद्र सरकार के वकील ने नवंबर, 2023 में अदालत से जवाब दाखिल करने के लिए एक हफ्ते या 10 दिन का और समय देने का आग्रह किया था। कांग्रेस, तृणमूल कांग्रेस, द्रमुक और अन्य सहित नौ राजनीतिक दलों का प्रतिनिधित्व करने वाले वरिष्ठ वकील अभिषेक सिंघवी ने कहा था कि याचिका के खिलाफ "प्रारंभिक आपत्तियां" थीं और उच्चतम न्यायालय इस मुद्दे से निपट चुका है।

याचिकाकर्ता ने पहले उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था और 26 राजनीतिक दलों द्वारा भारत के संक्षिप्त नाम का और प्रतिवादी राजनीतिक गठबंधन द्वारा भारत के साथ राष्ट्रीय ध्वज के उपयोग करने पर रोक लगाने के लिए अंतरिम आदेश की मांग की थी। अदालत ने पिछले साल अगस्त में याचिका पर नोटिस जारी किया था।

जिन राजनीतिक दलों को प्रतिवादियों के रूप में सूचीबद्ध किया गया है उनमें कांग्रेस, तृणमूल कांग्रेस, द्रमुक, आम आदमी पार्टी, जनता दल (यूनाइटेड), राष्ट्रीय जनता दल, झारखंड मुक्ति मोर्चा, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरद पवार), शिव सेना (यूबीटी), समाजवादी पार्टी, राष्ट्रीय लोकदल, अपना दल (कमेरावादी) शामिल हैं।

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(Note: इस भाषा कॉपी में हेडलाइन के अलावा कोई बदलाव नहीं किया गया है)

अपडेटेड 14:17 IST, April 2nd 2024