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Published 09:49 IST, November 2nd 2024

बांग्लादेश की सड़कों पर छाया भगवा, यूनुस सरकार पर फूटा हिंदूओं का गुस्सा, 72 घंटे का दिया अल्टीमेटम

बांग्लादेश में अल्पसंख्यक हिंदुओं पर अत्याचार थमने का नाम ही नहीं ले रहा है। हिंदुओं पर लगातार हो रहे हमले और अत्याचार दिन-ब-दिन बढ़ते ही जा रहे हैं।

Reported by: Priyanka Yadav
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यूनुस सरकार पर फूटा हिंदुओं का गुस्सा | Image: x
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Bangladesh : बांग्लादेश में अल्पसंख्यक हिंदुओं पर अत्याचार थमने का नाम ही नहीं ले रहा है। हिंदुओं पर लगातार हो रहे हमले और अत्याचार दिन-ब-दिन बढ़ते ही जा रहे हैं। शेख हसीना सरकार के पतन के बाद देश की बागडोर संभाल रहे मोहम्मद यूनुस उनकी रक्षा करने में असमर्थ होते जा रहे हैं। इस बीच खुद पर हो रही हिंसा से परेशान हजारों हिंदू सड़कों पर उतरे। इस दौरान उन्होंने अंतरिम सरकार से सिलसिलेवार हमलों और उत्पीड़न से सुरक्षा देने और इस समुदाय के नेताओं के खिलाफ दर्ज राजद्रोह के मामलों को रद्द करने की मांग की।

लगभग 30 हजार हिंदुओं ने दक्षिण-पूर्वी शहर चटगांव के एक प्रमुख चौराहे पर रैली करते हुए नारे लगाए। इसके अलावा पड़ोसी देश में अन्य जगहों पर भी विरोध प्रदर्शन करने की सूचना मिली। हिंदुओं का कहना है कि शेख हसीना की धर्मनिरपेक्ष सरकार के बेदखल होने और हसीना के देश छोड़कर चले जाने के बाद से हिंदुओं के खिलाफ हजारों हमले हुए हैं। बांग्लादेश की आबादी लगभग 17 करोड़ है, जिनमें से हिंदुओं की आबादी करीब 8 प्रतिशत है जबकि 91 प्रतिशत आबादी मुसलमानों की है।

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हिंदुओं पर हुए 2 हजार से ज्यादा हमले 

देश के प्रभावशाली अल्पसंख्यक समूह ‘बांग्लादेश हिंदू बौद्ध ईसाई यूनिटी काउंसिल’ ने बताया कि चार अगस्त के बाद से हिंदुओं पर 2 हजार से अधिक हमले हुए हैं। इस पर हिंदुओं और अन्य अल्पसंख्यक समुदायों का कहना है कि अंतरिम सरकार ने उनकी पर्याप्त सुरक्षा नहीं की है। शेख हसीना के देश छोड़कर जाने के बाद कट्टरपंथी इस्लामवादी तेजी से प्रभावशाली होते जा रहे हैं।

सरकार के सामने रखी गईं ये 8 मांगें

हसीना सरकार के पतन के बाद से देश के अलग-अलग शहरों में हिंदुओं की सुरक्षा और अन्य मांगों को लेकर लगातार प्रदर्शन हो रहे हैं। जानकारी है कि यूनुस सरकार के सामने 8 प्रमुख मांगें रखी गई हैं जिनमें अल्पसंख्यकों की सुरक्षा के लिए कानून, अलग मंत्रालय, उत्पीड़न के लिए मुकदमा चलाने के लिए न्यायिक प्राधिकरण का गठन और दुर्गा पूजा के लिए पांच दिन का अवकाश समेत अन्य मांगें शामिल हैं।  

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19 हिंदू नेताओं के खिलाफ देशद्रोह का केस दर्ज

इससे पहले शहर में 25 अक्टूबर की रैली को लेकर प्रमुख पुजारी चंदन कुमार धर समेत 19 हिंदू नेताओं के खिलाफ बुधवार को राजद्रोह के आरोप में मामला दर्ज किया गया था। इसी के खिलाफ शुक्रवार को चटगांव में विरोध प्रदर्शन हुआ। दो नेताओं की गिरफ्तारी से हिंदू समुदाय के लोग नाराज हैं।

हिंदूओं ने 72 घंटे का दिया अल्टीमेटम

आरोप है कि 25 अक्टूबर की रैली में शामिल लोगों के एक समूह ने कथित तौर पर एक खंभे पर बांग्लादेश के झंडे के ऊपर भगवा झंडा लगा दिया था। इसे राष्ट्रीय ध्वज का अपमान माना गया। हिंदू समुदाय के नेताओं का कहना है कि मामले राजनीति से प्रेरित हैं और बृहस्पतिवार को उन्होंने मांग की थी कि 72 घंटे में ये मामले वापस लिए जाएं। जानकारी के मुताबिक, हिंदू समुदाय के सदस्यों ने ढाका में शनिवार, यानि आज एक और रैली आयोजित करने की योजना बनाई है।

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बता दें कि हसीना की सरकार के पतन के बाद नोबेल शांति पुरस्कार से सम्मानित मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व में अंतरिम सरकार का गठन किया गया था। छात्रों का आंदोलन हिंसक होने के बाद शेख हसीना देश छोड़कर चली गई थीं।

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09:49 IST, November 2nd 2024