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पब्लिश्ड 17:58 IST, January 22nd 2025

अधिकतर व्यक्तिगत करदाता बजट में आयकर में कटौती के पक्ष मेंः ग्रांट थॉर्नटन सर्वेक्षण

भारत में 57 प्रतिशत व्यक्तिगत करदाताओं की इच्छा है कि सरकार अगले वित्त वर्ष के बजट में करों में कटौती की घोषणा करे।

Most individual taxpayers in favor of income tax cut in Budget | Image: Pexels

भारत में 57 प्रतिशत व्यक्तिगत करदाताओं की इच्छा है कि सरकार अगले वित्त वर्ष के बजट में करों में कटौती की घोषणा करे। एक बजट-पूर्व सर्वेक्षण में यह बात सामने आई है।

बहुराष्ट्रीय पेशेवर सेवा कंपनी 'ग्रांट थॉर्नटन भारत' की सोमवार को जारी सर्वेक्षण रिपोर्ट के मुताबिक, करीब 72 प्रतिशत व्यक्तिगत करदाताओं के नई आयकर व्यवस्था को चुनने के बावजूद 63 प्रतिशत करदाता पुरानी कर व्यवस्था के तहत मिलने वाले प्रोत्साहन में बढ़ोतरी के पक्ष में हैं। वहीं, नई कर व्यवस्था की तरफ आकर्षण बढ़ाने के लिए करीब 46 प्रतिशत उत्तरदाताओं ने कर की दरें कम करने की वकालत की, जबकि 26 प्रतिशत लोगों का मानना ​​है कि छूट की सीमा बढ़ाई जाए।

ग्रांट थॉर्नटन भारत के बजट-पूर्व सर्वेक्षण में 500 से अधिक लोग शामिल हुए। सर्वेक्षण के परिणामों से पता चलता है कि व्यक्तिगत करदाता अपनी व्यय योग्य आय बढ़ाने के लिए व्यक्तिगत कर के मोर्चे पर राहत चाहते हैं। सर्वेक्षण में शामिल 57 प्रतिशत प्रतिभागी कम आयकर दरें चाहते हैं, जबकि 25 प्रतिशत ने एक फरवरी को पेश किए जाने वाले बजट में उच्च छूट सीमा की वकालत की।

रिपोर्ट कहती है कि 53 प्रतिशत उत्तरदाता सरकार से नई कर व्यवस्था के तहत आवासीय संपत्ति पर होने वाले नुकसान की भरपाई की अनुमति देने की वकालत कर रहे हैं। करीब 47 प्रतिशत लोग चाहते हैं कि पुरानी व्यवस्था के तहत ‘सेट-ऑफ’ सीमा बढ़ाई जाए या दो लाख रुपये की सीमा को पूरी तरह से हटा दिया जाए।

इन परिवर्तनों से घाटे की भरपाई में अधिक लचीलापन आएगा, रियल एस्टेट में निवेश को बढ़ावा मिलेगा तथा करदाताओं को उचित आवासीय सुविधा प्राप्त करने की उनकी आकांक्षाओं को पूरा करने में मदद मिलेगी। ग्रांट थॉर्नटन भारत के साझेदार अखिल चांदना ने कहा कि राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली (एनपीएस) की कर कटौती सीमा में बढ़ोतरी और एनपीएस से निकासी के अधिक लचीले नियम होने पर करदाताओं की सेवानिवृत्ति बचत को बढ़ावा मिलेगा।

चांदना ने कहा, ‘‘इसके अलावा इलेक्ट्रिक वाहनों (ईवी) के इस्तेमाल पर अनुलाभ कराधान नियमों पर सरकार से स्पष्टता आने की उम्मीद है। इसके साथ ही ईवी की खरीद पर कानून के तहत कटौती को भी बहाल किया जाना चाहिए।’’

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अपडेटेड 17:58 IST, January 22nd 2025

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